विदेशों में बिना NEET परीक्षा के ही MBBS Course में दाखिला

 


विदेशों में बिना NEET परीक्षा के ही MBBS Course में दाखिला



नीट में असफल होने वाले छात्रों का विदेशों की और बढ़ा रुझान |


विदेशों में बिना NEET परीक्षा के ही MBBS Course में दाखिला, MBBS करने वाले वाले छात्रों का रुझान विदेशों की और बढ़ने लगा, NEET परीक्षा पास नहीं कर पाने वाले छात्र विदेश से MBBS की पढ़ाई करने के लिए जाते है |

 

आज के समय में हमारे देश में हर एक फील्ड में कंपटीशन काफी ज्यादा हो चुका हैं। आज उसी का नतीजा है कि किसी भी क्षेत्र में तरक्की करना बहुत ही ज्यादा मुश्किल भी हो चुका हैं। यदि हम MBBS की पढ़ाई की बात करें तो मेडिकल की पढ़ाई के लिए आजकल काफी ज्यादा छात्र भारत को छोड़कर विदेशों में MBBS की पढ़ाई करने के लिए जाने लगे हैं।


जिसका मुख्य कारण केवल यही है कि भारत में एमबीबीएस की डिग्री प्राप्त करने के लिए कॉलेजों में दाखिला ही बड़ी मुश्किल से मिलता हैं। हमारे देश में जिन कॉलेजों में दाखिला मिलता है, तो उनमें फीस इतनी ज्यादा होती है कि उससे केवल आधी फीस में छात्र विदेशों से MBBS की पढ़ाई आसानी से करके भारत लौट सकते हैं।



नीट की परीक्षा में असफल होने वाले छात्र जाते हैं विदेशों में पढ़ाई के लिए


आपको पता ही होगा कि यदि भारत में किसी सरकारी मेडिकल कॉलेज से MBBS Degree  हासिल करनी हैं, तो उसके लिए आपको NEET Exam में काफी अच्छा रैंक हासिल करना पड़ता हैं। इसके अलावा जिन प्राइवेट कॉलेजों में सरकारी कोटा वाली सीटें होती हैं, तो उनके लिए भी छात्रों को नीट की परीक्षा में काफी अच्छे अंक प्राप्त करने पड़ते हैं। छात्र दिन रात मेहनत करके अच्छे अंक तो प्राप्त करते हैं, लेकिन फिर भी उन्हें कंपटीशन काफी ज्यादा होने की वजह से सरकारी कॉलेजों में दाखिला नहीं मिल पता हैं।


जब नीट की परीक्षा देने के बाद भी छात्रों को सरकारी या अच्छे प्राइवेट कॉलेज में सरकारी कोटा वाली सीटों पर दाखिला नहीं मिलता, तो इसीलिए छात्र दूसरे देशों में पढ़ाई करने के लिए जाते हैं। क्योंकि दूसरे देशों से MBBS Degree प्राप्त करने के लिए उन्हें ना तो नीट की परीक्षा देनी होती है और ना ही इतनी ज्यादा फीस देनी होती है।



विदेशों से केवल 30 से 35 लाख रुपए में हो जाता हैं MBBS Course


भारत के जितने भी छात्र MBBS Degree प्राप्त करने के लिए विदेशों में जाते हैं, तो सबसे ज्यादा छात्र केवल Russia , China और Ukraine ही जाते हैं। क्योंकि इन्हीं तीनों देशों में MBBS Course की फीस काफी ज्यादा कम है। हम आपको बता दें कि यहां से एमबीबीएस डिग्री हासिल करने में कुल खर्च 35 लाख रुपए का आता है। इस खर्चे में 6 साल की पढ़ाई के साथ-साथ छात्र के रहने खाने और भारत लौटने तक का खर्चा सम्मिलित होता है।


इसके अलावा यदि हम भारत की बात करें तो भारत से किसी भी Private Collage से MBBS Degree प्राप्त करने में छात्रों के 45 से लेकर 55 लाखों रुपए तक खर्च हो जाते हैं। कुछ छात्र तो ऐसे भी हैं, जिनका खर्चा 60 लाख रुपए तक भी बड़ी आसानी से पहुंच जाता है। यही बड़ा कारण है कि छात्रों को अपना देश छोड़कर दूसरे देशों में पढ़ाई के लिए जाना पड़ता है।



Management Quota से मेडिकल की पढ़ाई की फीस है, 1.20 करोड रुपए तक


आपको नहीं पता तो हम बता दें कि देशभर के सभी प्राइवेट कॉलेजों में Management Quota की सीटें भी होती हैं जो कि लगभग 20,000 सीटें होती हैं। यह सभी सीटें केवल आप्रवासी भारतीयों के लिए NRI Quota की होती हैं l लेकिन इनकी फीस काफी ज्यादा होती है। यदि हम कम से कम भी बात करें तो Management तथा NRI Quota की फीस लगभग 30 लाख रुपए से लेकर 1.20 करोड रुपए तक होती हैं।



यह कोर्स 4 से 5 साल का होता है, जिसके बाद किसी भी अस्पताल से 1 वर्ष की Internship भी करनी जरूरी होती है।


Ukraine से केवल 6 वर्षों में मिल जाती हैं, एमबीबीएस की डिग्री


हर साल हजारों भारतीय केवल इसलिए भी भारत छोड़कर Ukraine जाते हैं कि, यूक्रेन से काफी कम समय में MBBS Degree प्राप्त हो जाती हैं। यदि भारत की बात करें तो भारत में एमबीबीएस के कोर्स को पूरा होने में लगभग 10 वर्षों का समय लगता है। जबकि यूक्रेन से एमबीबीएस की डिग्री कुल 6 वर्षों में प्राप्त हो जाती है,इस प्रकार छात्रों के जीवन के 4 साल बच जाते हैं।



भारत में मेडिकल की सीटें हैं केवल, 90 हजार


यदि भारत में कुल मेडिकल सीटों की बात की जाए तो इस समय भारत में कुल मेडिकल सीटें लगभग 90,000 के आसपास हैं। जबकि इसमें से आधे से ज्यादा सीटें तो केवल सरकारी कॉलेजों की ही हैं। सरकारी कॉलेजों का तो आपको पता ही है कि, इनमें छात्रों को बड़ी मुश्किल से दाखिला मिलता है क्योंकि इनमें प्रतिस्पर्धा बहुत ही ज्यादा हैं।





यदि हम देश छोड़कर बाहर जाने वाले छात्रों के आंकड़ों की बात करें, तो हर साल लगभग 20000 से 25,000 छात्र भारत को छोड़कर विदेशों में MBBS Degree  प्राप्त करने के लिए जाते हैं। क्योंकि विदेशों में छात्रों के पैसों के साथ-साथ उनके समय की भी बचत होती हैं।


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