विज्ञापन के क्षेत्र में भी है रोजगार की अपार संभावनाएं


 विज्ञापन के क्षेत्र में भी है रोजगार की अपार संभावनाएं

################################


आज दुनिया में कड़ी स्पर्धा चल रही है। उत्पाद को बेचने की कला या समतुल्य ब्रांडों के बराबर बिक्री विज्ञापन के माध्यम से की जाती है। किसी न किसी रूप में विज्ञापन का हर क्षेत्र में प्रचार हो चुका है। चाहे वह प्रिंट मीडिया हो अथवा रेडियो, श्रव्य-दृश्य साधन हो या समारोह प्रबंधन।


वस्तुत: टेलीविजन तथा रेडियो और अब इंटरनेट जैसे इलेक्ट्रानिक माध्यमों में विज्ञापनों का प्रमुख स्थान है। यह सर्वाधिक प्रतियोगी, आकर्षक एवं चुनौती भरा करियर है। विज्ञापन सर्जनात्मक ढंग से ब्रांड की प्रस्तुति है तथा यह ऐसी कला है, जिसमें उत्पाद को बेचने के अद्भुत तरीके विद्यमान हैं।



बहुराष्ट्रीय कंपनियों एवं बड़े कारपोरेट, जैसे पेप्सी में ब्रांड को बढ़ावा देने के लिए अत्यधिक मात्रा में विज्ञापन बजट रखा जाता है - लगभग तीन सौ करोड़ रुपए। हिन्दुस्तान लीवर लिमिटेड प्रति वर्ष छह सौ सत्तर करोड़ रुपए बजट आकलित करती है, जबकि छोटी कंपनियां लाखों में बजट रखती हैं।


प्रतियोगी ब्रांड की बिक्री संबंधी कार्यनीतियों को मात देने के लिए बिक्री के अदभुत तरीके निकाले जाते हैं। चाहे वह कार हो, कोल्ड ड्रिंक हो या चिप्स हो। कोई व्यक्ति उत्पाद के कोर मूल्यों के आधार पर ब्रांड की इमेज में अंतर कर लेता है तथा ब्रांड पहचान लेता है और इसे कार्यनीतिपरक परिणाम के रूप में इस्तेमाल करता है।


टेलीविजन पर प्राइम टाइम के समय श्रोता/दर्शकों को अभिभूत करने में वस्तुत: वर्लपूल, ब्रिटानिया, फिफ्टी-फिफ्टी, नेस्ले, नेस्कैफे जैसी प्रमुख कंपनियों द्वारा समर्थन मिलता है। ऐसे कार्यक्रमों के लिए मीडिया-प्रयोक्ताओं को प्रीमियम देना पड़ता है। ऐसे कार्यक्रमों के माध्यम से ब्रांड लोकप्रिय होते हैं। इलेक्ट्रानिक मीडिया पर अन्य विरोधी प्रतिद्वंद्वी कंपनियां प्राइम चैनलों पर ध्रुवीकृत हो जाती हैं। इससे मीडिया डिलीवरी इन चैनलों पर फेल हो जाती है। सामान्यत: ऐसे संवर्धन कार्यक्रमों का प्रभाव उच्च लागत के प्रभावों एवं कम लागत के चैनलों में बंट जाता है।


अनिवार्यत: उत्तम विज्ञापन कौशलों या मार्केटिंग का सार तत्व यही है कि व्यवस्थित विज्ञापन कार्यनीति द्वारा ब्रांड की स्थिति (पोजीशन) एवं रचनात्मकता के माध्यम से बिक्री बढ़ाई जा सकती है। इस कार्य के लिए जिम्मेदार लोग विज्ञापन एजेंसियों में रचनाधर्मी निदेशक होते हैं। इन निदेशकों के साथ पूरी टीम कार्य करती है।


यहां रचनात्मक हेड यूनिट, कॉपी राइटर, मीडिया प्लानर्स तथा लेखा-कार्यपालक, विशेषज्ञ क्लाइंट (ग्राहकों) के लिए सर्विस स्टाफ, विजुएलाइजर, कलाकार होते हैं। ये सभी इस एजेंसी की आधारभूत संरचना होते हैं। इससे इस क्षेत्र में आने वाले को आकर्षक अवसर मिलते हैं।


विज्ञापन बिक्री संबंधी अदभुत तरीकों पर फोकस करते हैं, जिनके कारण उपभोक्ता का इनसे तादात्म्य हो जाता है या उपभोक्ता वशीभूत हो जाते हैं। उदाहरण के लिए खूबसूरत गोरे रंग की महिला किसी साबुन के लिए मॉडलिग करती है तो महिलाओं/उपभोक्ताओं का उसके साथ तादात्म्य हो जाता है और वे यह मानने लगती हैं कि साबुन से उनकी त्वचा पर जादुई असर पड़ेगा। इतना असर होता है - किसी विज्ञापन का।


वास्तव में, कभी-कभी रचनात्मक विज्ञापन अभियान इतने प्रभावी होते हैं कि वे अवचेतन से जुड़े विज्ञापन कहलाते हैं। आज कार निर्माता संकल्पनाएं बेचते हैं, गृहणियां व्यावहारिकता या लचीलापन देखती हैं और विज्ञापनों में यही संकल्पनाएं दर्शाई जाती हैं और यदि एजेंसी का लक्ष्य व्यवसाय है तो विज्ञापनों से श्रेणी, प्रोफाइल और शक्ति उजागर होती है।


श्रोतागण का ऑन लाइन निर्धारण एवं उन्हें धन के महत्व की दृष्टि से उत्पाद प्रदान करना चुनौती भरा कार्य है। इसके अलावा यह कार्य अधिक संवेदनशील है और विज्ञापन से पड़नेवाले प्रभाव से लक्ष्य-पूर्ति का मापन किया जाता है। इसमें ई-शोध, ई-केंद्रित योजना, विशेष विपणन आदि शामिल हैं, क्योंकि ये विज्ञापन तुरंत स्थल पर ही इस्तेमाल किए जाते हैं।


सार रूप में, ब्रांड ग्राहकों तक पहुंचना चाहिए और इतनी असाधारण हो कि सभी का ध्यान बरबस खिंचता चला जाए। अब प्रसारण, डॉट कॉम कंपनियों जैसे क्षेत्रों तथा अन्य संबद्ध क्षेत्रों में नए-नए अवसर मौजूद हैं।



विज्ञापन कंपनियां अच्छा-खासा वेतन देती हैं। विभिन्न विभागों में नौकरियों के अवसर मौजूद रहते हैं। लेखा-कार्यपालक को ग्राहकों को आवश्यक सेवाएं प्रदान करनी होती हैं तथा उनकी विशिष्ट आवश्यकताओं की पूर्ति करनी होती है।


विज्ञापन संकल्पना की संक्षिप्त जानकारी देनी होती है, विज्ञापनों का स्थान निर्धारण करना होता है। उपभोक्ता सेवा विभाग उपभोक्ताओं की आवश्यकताओं की पूर्ति करता है। मीडिया कार्यपालक सर्वोत्तम मीडिया प्लान तैयार करते हैं, ताकि अभियान से अधिकाधिक लाभ प्राप्त किए जा सकें। अभीष्ट श्रोतागण को सवरेत्तम ढंग से प्रभावित किया जा सके। विज्ञापन अभियान के सवरेत्तम संभव स्लॉट की बुकिंग और बाजार के बारे में प्राप्त जानकारी के आधार पर वित्तीय समझौते किए जाते हैं।


बाजार अनुसंधान का सर्वोपरि महत्व है तथा लगभग प्रत्येक अभियान में यह निर्णायक भूमिका निभाता है। एजेंसी की सफलता सर्जनात्मक विभाग पर निर्भर करती है। सर्जनात्मक निदेशक इस विभाग का अध्यक्ष होता है, जो कॉपी राइटर्स, पटकथा लेखक, फोटोग्राफर, कलाकारों/डिजाइनर आदि के कार्य का पर्यवेक्षण करता है। कॉपी राइटर विज्ञापन की विषय-वस्तु लिखने के लिए जिम्मेदार होता है तथा पटकथा लेखक रेडियो और टेलीविजन की वाणिज्यिक पटकथा देखता है।


अलग-अलग मीडिया के संबंध में अंतिम रूप में विज्ञापन तैयार करने के लिए फोटोग्राफर, ऑडियो, स्टूडियो तथा वीडियो फिल्म की वाणिज्यिक यूनिटों के साथ संपर्क रखना पड़ता है और अंतत: उपभोक्ता द्वारा विज्ञापन स्वीकृत किए जाते हैं। वास्तव में, यह टीम द्वारा किया जानेवाला कार्य है और प्रत्येक विभाग अभियान की सफलता में अपनी भूमिका निभाता है।


ग्राहक और मीडिया एजेंसियों के साथ संपर्क स्थापित करने के लिए व्यावसायिकता एवं विशेष कौशलों की जरूरत पड़ती है, ताकि अत्यधिक दबाव में भी कार्य किया जा सके। विज्ञापन उन लोगों के लिए लाभप्रद एवं संतोषजनक करियर हो सकता है, जिनमें सर्जनात्मक गुण मौजूद हैं तथा जो साहसपूर्वक चुनौतियों का सामना कर सकते हैं। लेखा प्रबंधन स्टाफ समूहों में कार्य करता है और अलग-अलग लेखा संभालता है। लेखा कार्यपालक ग्राहकों और विज्ञापन एजेंसी के बीच कड़ी है। इन्हें ग्राहकों के उत्पादों और अपेक्षाओं से भलीभांति परिचित होना चाहिए। इसमें मीडिया कार्यनीति तैयार करने के लिए मीडिया प्लानर के साथ कार्य करना भी शामिल है। प्रशिक्षणार्थी के रूप में कार्य करने के लिए एजेंसी में भी अवसर उपलब्ध हैं। प्रारंभ में संपादकीय कार्य एवं ग्राहकों के समक्ष प्रस्तुतीकरण में सहायता करनी होती है। कुछ अनुभव मिलने के बाद इन्हें छोटे-मोटे लेखे संभालने के लिए सौंपे जाते हैं। उसके बाद बड़े लेखे सौंपे जाते हैं।


एमबीए के लिए बेहतर संभावनाएं हैं, हालांकि विज्ञापन में पीजी डिप्लोमा पर्याप्त योग्यता है। प्रतिष्ठित व्यावसायिक स्कूल से एमबीए बाद में भी किया जा सकता है। कापी राइटर के लिए विशिष्ट शैक्षणिक योग्यता की जरूरत नहीं है, हालांकि यह अपेक्षा की जाती है कि वे उत्तम कोटि की कॉपी लिखने में कुशल हों। वे उत्पाद या सेवा की विशेषता उजागर करने में सक्षम हों। किसी भी क्षेत्र के स्नातक विज्ञापन में स्नातकोत्तर डिप्लोमा कर सकते हैं। ग्राफिक डिजाइनर में कलात्मक प्रतिभा एवं रचनाधर्मिता का सुंदर सामंजस्य होना जरूरी है।

################################


टिप्पणियाँ

इस ब्लॉग से लोकप्रिय पोस्ट

PAPER-BUSINESS ORGANISATION QUESTION BANK

हिंदुस्तान जिंदाबाद था, जिंदाबाद है, और जिंदाबाद रहेगा।

What do you understand by business? Describe different types of business activities with examples.